आधी दुनिया की कुछ ज़िन्दगियाँ " जिन्हें सब कुछ स्वीकार है " 25 नवम्बर को 'International day for the ellemination of violence against women 'से शरू होकर १० दिसंबर 'अंतर्राष्ट्रीय मानवाधिकार दिवस ' की समाप्ति तक एक बार फिर हम '16 days of activism against gender violence' मना रहे हैं |सपष्ट है आधी दुनिया की कुछ ज़िन्दगियाँ आज भी ऐसे किसी भी दिवस के अर्थों से अंजान हैं |उनके लिए १६ दिन क्या १६ सदियाँ भी उनकी अस्तित्व को शून्य से शिखर नहीं दे पायीं |ऐसी ही कुछ ज़िन्दगियों के नाम ...... कुछ काँच के टुकड़े हथेली में भीचें हुए हूँ मैं , बचपन से लेकर झुरियों तक के सफ़र तक शायद, अब मेरी लकीरें कट कट कर जुड़ जाने की मजबूरियों को भी हौसलों का नाम देकर खुशफ़हम सी रहती हैं |